टाटा लैंड विभाग और एसडीओ की लापरवाही से बना झारखंड छात्र मोर्चा का अवैध कार्यालय
जमशेदपुर, 24 सितंबर : आज सिदगोड़ा थाना स्थित शिव सिंह बगान में झारखंड छात्र मोर्चा द्वारा जमीन पर अवैध कब्जा कर बनाए जा रहे कार्यालय के निर्माण को रोकने के लिए विधायक सरयू राय के दल भारतीय जन मोर्चा के नेताओं ने विरोध प्रदर्शन किया। इसके कारण दोनों दलों के लोग आमने सामने हो गए। इन लोगों को टकराने से रोकने में सिदगोड़ा थाना प्रभारी ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। हंगामा शांत करने के लिए पुलिस ने निर्माणाधीन कार्यालय में ताला लगा दिया।
घटना के बारे में बताया जाता है कि पिछले 3 सप्ताह से झारखंड छात्र मोर्चा के नेता जमीन पर कब्जा कर कार्यालय का निर्माण करा रहे हैंं। कार्यालय का निर्माण आधा से ज्यादा हो चुका है। सिदगोड़ा निवासी एक महिला ने इस जमीन को अपना बताते हुए झारखंड छात्र मोर्चा के कार्यालय निर्माण का विरोध किया, पर नेताओं के चलते उसकी एक न चली। तब भारतीय जन मोर्चा के नेता महिला के समर्थन में सामने आए और अवैध निर्माण को आज रोक दिया। जिससे दोनों दलों के बीच तनाव की स्थिति पैदा हो गई। ऐसा नहीं कि इस अवैध निर्माण का पता सिदगोड़ा पुलिस को पहले से नहीं थी। अवैध निर्माण की सूचना मिलते ही सिदगोड़ा के थाना प्रभारी मनोज ठाकुर ने घटनास्थल का दौरा किया था।

उन्होंने धालभूम के अनुमंडल पदाधिकारी को पत्र लिखकर अवैध कब्जा रुकवाने के लिए सीआरपीसी की धारा 144 की कार्रवाई करने की मांग की थी। परंतु एसडीओ ने इस संबंध में कोई कदम नहीं उठाया। थाना प्रभारी ने इसके साथ ही टाटा स्टील के लैंड विभाग को भी लिखित में सूचना दी और अवैध निर्माण को रोकने को कहा था परंतु टाटा स्टील के लैंड विभाग के पदाधिकारी ने भी कोई कार्यवाही नहीं की। इसका नतीजा आज कानून व्यवस्था की समस्या के रूप में सामने आया। मालूम हो इस बात को आम आदमी, प्रेस, पुलिस और प्रशासन के छोटे अधिकारियों से छुपाया गया है कि कौन सी जमीन टाटा लीज बाहर कर दी गई है।
ऐसी स्थिति में जमीन पर कब्जा होने पर आम जनता और पुलिस यह नहीं समझ पाती कि उसे टाटा स्टील से शिकायत करनी है या जिला प्रशासन से। इससे जमीन अतिक्रमण करने वाले माफिया को काफी मदद मिलती है। वे पुलिस और पब्लिक को असमंजस में रखकर अवैध अतिक्रमण करते हैं। आज की जमीन के बारे में झारखंड छात्र मोर्चा का कहना है कि यह जमीन टाटा स्टील की है। यहां कूड़ा कचरा पड़ा रहता था। उसे साफ कर उन लोगों ने जनता के हित में यहां कार्यालय बनाना शुरू किया है।
मसलन झारखंड छात्र मोर्चा खुलेआम मान रहा है कि उनका कार्यालय जमीन का अवैध अतिक्रमण कर बनाया जा रहा है। इस मामले में जिला प्रशासन के बड़े अधिकारियों का क्या रुख होगा, जनता की नजरें इस पर हैं।
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